बिजली मीटर गोरखधंधे के अड्डे पर छापा,समेत संविदा लाइनमैन गिरफ्तार।
अयोध्या।
अयोध्या प्रवर्तन दस्ते व ऊर्जा विभाग की संयुक्त टीम ने गुरुवार को छापा मार कर बिजली मीटर के गोरखधंघे के दूसरे अड्डे का खुलासा किया है। मौके से संविदा लाइनमैन और उसके भाई को गिरफ्तार कर 16 बोरी मीटर के साथ अन्य उपकरण बरामद किए हैं।
प्रवर्तन दस्ते और पावर कॉर्पोरेशन की संयुक्त टीम ने नगर कोतवाली के देवनगर पहाड़गंज निवासी कृष्ण कुमार सोनी के घर बुधवार को छापा मारा था। विभाग के 187 नए, 256 पुराने मीटर, 404 सर्किट बोर्ड, 62 मेमोरी चिप, एक रिमोट डिवाइस, दो रिमोट कंट्रोल चिप, स्टेबलाइजर आदि बरामद किए थे।
मामले में 33 केवी कौशलपुरी फीडर के अवर अभियंता योगेंद्र कुमार द्विवेदी ने धोखाधड़ी, सरकारी संपत्ति को नुकसान और विद्युत अधिनियमों के तहत नामजद केस दर्ज कराया था।
मामला दर्ज होने के बाद संयुक्त टीम को गुरुवार को इस गोरखधंघे के एक और अड्डे की जानकारी हुई। इस पर टीम ने साहबगंज के इस्माइलगंज स्थित एक माकन में छापा मारा। मौके से कुल 180 बिजली मीटर तथा संबंधित उपकरण बरामद किए। विभाग में तैनात संविदा लाइनमैन अशोक सिंह और उसके सगे भाई विकास सिंह को गिरफ्तार किया है। प्रवर्त्तन दस्ते के उपनिरीक्षक एमपी सिंह ने बताया कि कल वाले मामले में एंटी थेफ़्ट पावर थाने में नामजद रिपोर्ट दर्ज कराई गई है।
बिजली उपभोक्ताओं के मीटर में छेड़छाडं और मीटर रीडिंग को पीछे कर विभाग को लाखों के राजस्व का चूना लगाने के इस गोरखधंधे के खुलासे के बाद जिले से लेकर लखनऊ मुख्यालय तक हलचल मची हुई है। अनुमान है कि यह पूरा गोरखधंधा कई वर्षों से अधिकारियों और जिम्मेदारों की मिलीभगत से फल-फूल रहा है। साथ ही गोरखधंधे का दायरा भी फैला हुआ सामने आ रहा है। मुख्यालय तक हलचल मचने के बाद मध्यांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के निदेशक योगेश पवार ने अयोध्या पहुंच अधिकारियों के साथ बैठक की और पूरे मामले की जानकारी ली।
विजिलेंस के छापे में पकड़े गए बड़े गोरखधंधे में गुरुवार देर शाम तत्काल प्रभाव से पॉवर कारपोरेशन के चार कर्मियों को निलम्बित कर दिया गया।
चीफ इंजीनियर हरीश बंसल ने बताया कि विद्युत वितरण खंड प्रथम के टीजी टू राम जनम यादव, विनोद यादव और विधुत परीक्षण खंड के टीजी टू शिवम श्रीवास्तव व रणधीर यादव को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। इन चारों के विरुद्ध विभागीय के साथ वैधानिक कार्रवाई भी प्रचलित है। पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच भी शुरू करा दी गई है। दोनों छापों में बरामद मीटरों और उपकरणों के आधार पर लगातार जांच की जा रही है। सूत्रों के अनुसार अभी कई अवर अभियंता और कर्मी इसकी जद में आ सकते हैं।