पैसे देकर रामलला के वीआईपी दर्शन की कोई व्यवस्था नहीं, ट्रस्ट ने दी मिलने वाली सुविधाओं की जानकारी।
अयोध्या
अयोध्या श्रीराम मंदिर ट्रस्ट ने श्रद्धालुओं को मिलने वाली सुविधाओं की जानकारी साझा की और कहा कि पैसे देकर श्रीरामलला के दर्शन की कोई व्यवस्था नहीं है। श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने देश-दुनिया के भक्तों से सोशल मीडिया के माध्यम से 10 महत्वपूर्ण सूचनाएं साझा की हैं। ट्रस्ट ने श्रद्धालुओं को सचेत किया कि शुल्क लेकर विशिष्ट दर्शन नहीं कराए जाते। न ही शुल्क लेकर किसी विशेष पास की व्यवस्था है। यदि पैसा लेकर दर्शन करवाने का समाचार सुनने को मिलता है तो वह धोखाधड़ी का प्रयास हो सकता है। मंदिर प्रबंधन का इससे कोई संबंध नहीं है। बीते कुछ समय से राममंदिर में पैसा लेकर विशिष्ट दर्शन कराए जाने की अफवाहें कई दिनों से फैल रही थीं, जिसको लेकर ट्रस्ट ने स्पष्ट किया है कि मंदिर परिसर में ऐसी कोई व्यवस्था नहीं की गई है। ट्रस्ट की ओर से बताया गया है कि मंदिर में रोजाना औसतन डेढ़ लाख दर्शनार्थी दर्शन कर रहे हैं। दर्शनार्थी श्री रामजन्मभूमि मंदिर में सुबह 6:30 बजे से रात 9:30 बजे तक प्रवेश कर सकते हैं।
श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में प्रवेश करने से लेकर, दर्शन कर बाहर आने तक की प्रक्रिया अत्यंत सरल एवं सुगम है। सामान्यतः दर्शनार्थियों को 60 से 75 मिनट के भीतर भगवान श्री रामलला के दिव्य दर्शन सुगमता से हो जाते हैं। भक्त यदि अपना मोबाइल, जूते-चप्पल, पर्स आदि सामान मंदिर परिसर के बाहर रख कर आएंगे तो उन्हें अत्यंत सुविधा होगी। उनके समय की भी बचत होगी। अपील की गई है कि मंदिर में फूल-माला, प्रसाद लेकर न आएं। प्रातः काल चार बजे मंगला आरती, 6:15 बजे श्रृंगार आरती एवं रात 10 बजे शयन आरती में प्रवेश पास के माध्यम से ही संभव है। पास बनवाने के लिए दर्शनार्थी का नाम, आयु, आधार कार्ड, मोबाइल नंबर व शहर का नाम जैसी सूचनाएं आवश्यक हैं। यह पास नि:शुल्क है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की वेबसाइट से भी उपलब्ध हो सकता है। ट्रस्ट की ओर से बताया गया है कि मंदिर में वृद्धजनों व दिव्यांगजनों के लिए व्हील चेयर उपलब्ध हैं। ये व्हील चेयर केवल श्री राम जन्मभूमि मंदिर परिसर के लिए हैं। अयोध्या शहर या किसी अन्य मंदिर के लिए नहीं। इस व्हील चेयर का कोई किराया नहीं है, लेकिन व्हील चेयर ले जाने वाले को पारिश्रमिक देना होता है।